लंबी उम्र के लिए अच्छी और कम डाइट बहुत जरूरी है। लेकिन अक्सर लोग कम खाने का मतलब डाइटिंग समझ लेते हैं। खासतौर पर युवा लड़कियां तो इस चक्कर में लंच या डिनर ही नहीं करती हैं।
विशेषज्ञ की राय
डाइटीशियन विशेषज्ञ के अनुसार कम खाने से मतलब मेटाबॉलिक रेट (खाने, सांस लेने जैसे साधारण कामों के दौरान आप जो एनर्जी खर्च करते हैं) के हिसाब से खाना होता है। जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है, वैसे-वैसे हमारी मेटाबॉलिक दर घटती जाती है। बावजूद इसके हम अपने खानपान में किसी तरह का कोई बदलाव नहीं करते और ज्यादा खाते रहते हैं जिससे खाने में मौजूद पोषक तत्व हमें ठीक से मिल नहीं पाते और अपच की समस्या होने लगती है।
ये हैं उपाय
हर दस साल में हमारी मेटाबॉलिक दर में बदलाव आ जाता है इसलिए इसे ध्यान में रखते हुए डाइटीशियन की सलाह से एक डाइट चार्ट बनवा लेना चाहिए। हर उम्र में हमें अलग-अलग पोषक तत्वों की ज्यादा जरूरत होती है जैसे बच्चों को प्रोटीन, किशोरावस्था में बच्चियों को आयरन व मेनोपॉज के बाद महिलाओं को कैल्शियम की।
from Patrika : India's Leading Hindi News Portal http://bit.ly/2To8WPW