अक्सर मौसमी बदलाव और गलत खानपान की वजह से फूड पॉइजनिंग, उल्टी व दस्त की शिकायत हो जाती है। फूड पॉइजनिंग का अगर सही समय पर उचित इलाज न किया जाए तो ये समस्या ज्यादा घातक हो सकती है। होम्योपैथी चिकित्सा में फूड पॉइजनिंग का इलाज संभव है आइये जानते हैं इसके बारे में ।
इलाज : उल्टी-दस्त होने पर डिहाइड्रेशन की समस्या हो जाती है ऐसे में आर्सेनिक एलबम दी जाती है। अधिक प्यास लगना, उल्टी-दस्त होना, शरीर व माथा ठंडा पड़ना जैसे लक्षणों में वेरेट्रम एलबम दवा मरीज को देने चाहिए। पूरा शरीर ठंडा पड़ने के बाद भी अगर रोगी कुछ ओढ़ना ना चाहता हो और उसे सांस लेने में दिक्कत हो तो उसे कैंफर मदर टिंचर बताशे या चीनी के साथ दिया जाता है। दूषित फल खाने से पेट में ऐंठन व दर्द हो तो नक्सवोमिका देते हैं।
विशेषज्ञ की राय -
जितना संभव हो सके बाहर के खाने से बचना चाहिए। शरीर को पानी की बहुत जरूरत होती है इसलिए खूब पानी पीएं। ज्यादा तला-भुना या मसालेदार भोजन ना करें। बाजार में बिकने वाले जूस पीने की बजाय फल खाएं या घर में जूस बनाकर पीएं।
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